रेलवे ने बदले नियम: अब टिकट कंफर्म है या नहीं, इसका पता 8 घंटे पहले चलेगा
भारतीय रेलवे ने यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए ट्रेन यात्रा के नियमों में एक बड़ा बदलाव किया है। अब यात्रियों को यह जानने के लिए चार्टिंग तक इंतजार नहीं करना होगा कि उनका वेटिंग टिकट कंफर्म हुआ है या नहीं। रेलवे ने यह जानकारी अब चार्टिंग से पूरे आठ घंटे पहले उपलब्ध कराने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही वेटिंग टिकट कैंसिल करने पर लगने वाले कैंसिलेशन चार्ज को भी समाप्त कर दिया गया है, जो यात्रियों के लिए एक बड़ी राहत है।
क्या है नया नियम?
अब तक की व्यवस्था में यात्रियों को यह पता लगाना मुश्किल होता था कि ट्रेन में चढ़ने से पहले उनका टिकट कंफर्म हुआ है या नहीं। चार्टिंग की प्रक्रिया यात्रा से लगभग 4 घंटे पहले होती थी, जिससे अंतिम समय में टिकट की स्थिति को देखकर योजना बनाना मुश्किल हो जाता था। लेकिन अब यह स्थिति बदल गई है। रेलवे ने टिकट कंफर्मेशन की जानकारी चार्टिंग से आठ घंटे पहले उपलब्ध कराने का नियम लागू कर दिया है। यानी, अब यात्री को यात्रा के कम से कम आठ घंटे पहले यह पता चल जाएगा कि उनका टिकट कंफर्म है या नहीं। इससे यात्रियों को वैकल्पिक योजना बनाने और समय प्रबंधन में सुविधा होगी।
वेटिंग टिकट पर अब नहीं लगेगा कैंसिलेशन चार्ज
रेलवे ने एक और बड़ा कदम उठाते हुए वेटिंग लिस्ट वाले यात्रियों के लिए टिकट कैंसिल करने पर कोई शुल्क नहीं लेने का निर्णय लिया है। पहले ऑनलाइन वेटिंग टिकट कैंसिल करने पर यात्रियों को ₹30 से ₹60 तक का चार्ज देना पड़ता था। यह नियम लंबे समय से विवादास्पद था, क्योंकि यात्रियों को ट्रेन में सीट नहीं मिलने के बावजूद कैंसिलेशन चार्ज चुकाना पड़ता था। कई बार ऐसे टिकट स्वतः रद्द हो जाते थे और फिर भी चार्ज कट जाता था, जिससे यात्रियों में असंतोष था।
अब इस चार्ज को समाप्त करने का फैसला यात्रियों के हित में लिया गया है। सोशल मीडिया और उपभोक्ताओं की लगातार शिकायतों को देखते हुए रेलवे ने यह निर्णय लिया है। यह फैसला उन लाखों यात्रियों के लिए फायदेमंद साबित होगा, जो हर दिन वेटिंग टिकट बुक करते हैं और बाद में कंफर्म न होने पर उसे रद्द करते हैं।
क्यों लिया गया यह फैसला?
रेलवे मंत्रालय को वेटिंग टिकट के कैंसिलेशन पर शुल्क काटे जाने को लेकर पिछले कुछ वर्षों से लगातार शिकायतें मिल रही थीं। यात्री यह सवाल उठा रहे थे कि जब उन्हें यात्रा की अनुमति नहीं मिली, तो कैंसिलेशन पर शुल्क क्यों लिया जाए। इसके साथ ही उपभोक्ता मंचों, सोशल मीडिया और कई उपभोक्ता संगठनों ने भी रेलवे पर दबाव डाला कि इस प्रथा को बंद किया जाए।
रेलवे ने जनहित को प्राथमिकता देते हुए यह बदलाव किया है। इस निर्णय से यात्रियों को न केवल आर्थिक राहत मिलेगी, बल्कि यह निर्णय रेलवे की पारदर्शिता को भी दर्शाता है।
कौन होंगे लाभार्थी?
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वेटिंग टिकट वाले यात्री – सबसे बड़ा लाभ उन यात्रियों को होगा, जिनका टिकट वेटिंग में होता है और उन्हें कंफर्मेशन की चिंता रहती है।
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ट्रेन में चढ़ने से पूर्व योजना बनाने वाले यात्री – कंफर्मेशन की जानकारी 8 घंटे पहले मिलने से यात्री वैकल्पिक परिवहन की योजना बना सकेंगे।
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लंबी दूरी के यात्री – विशेषकर उन यात्रियों को राहत मिलेगी जो लंबी दूरी की यात्रा करते हैं और उन्हें टिकट की स्थिति के अनुसार रुकने या आगे बढ़ने का निर्णय लेना होता है।
यात्रियों को कैसे मिलेगी जानकारी?
रेलवे अब आईआरसीटीसी पोर्टल और ऐप पर टिकट की स्थिति को चार्टिंग से पहले अपडेट करेगा। जैसे ही चार्ट तैयार होगा, उससे आठ घंटे पूर्व तक यात्री को SMS, ईमेल या आईआरसीटीसी अकाउंट पर कंफर्मेशन की स्थिति का पता चल जाएगा।
भारतीय रेलवे का यह निर्णय यात्रियों के लिए राहत की सौगात है। वेटिंग टिकट कैंसिलेशन शुल्क को हटाना और कंफर्मेशन की जानकारी 8 घंटे पहले देना, दोनों कदम यात्रा को अधिक सरल, पारदर्शी और यात्री हितैषी बनाते हैं। उम्मीद की जा रही है कि आने वाले समय में रेलवे इसी प्रकार यात्रियों के हित में और भी सुधारात्मक कदम उठाएगा।
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